Wednesday, 18 October 2017

दीवाली...

दीप जला हैं जगमग जगमग,
सारी खुशिया सबके दर पर,
रात अंधेरी  सांत  स्वरूप में,
दीपक किया हैं रौशन हर जग।
        
               ~दीपक कु. तिवारी

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